Punjab ने Centre से मांगा ₹20,000 Crore का Flood Relief Package; CM Mann बोले – “हम भीख नहीं, अपना हक मांग रहे हैं”

पंजाब में आई भयंकर बाढ़ के बाद राज्य सरकार ने केंद्र से ₹20,000 करोड़ के विशेष राहत पैकेज की मांग की है। मुख्यमंत्री भगवंत मान ने विधानसभा के विशेष सत्र में साफ कहा कि पंजाब सिर्फ अपना हक मांग रहा है, कोई भीख नहीं।

SDRF फंड पर विवाद

केंद्र सरकार का कहना है कि पंजाब के पास SDRF (State Disaster Response Fund) में ₹12,000 करोड़ पड़े हैं, जिन्हें बाढ़ राहत में इस्तेमाल किया जा सकता है।
लेकिन सीएम मान ने यह दावा झूठा और भ्रामक बताते हुए विधानसभा में पूरे आंकड़े पेश किए। उन्होंने कहा –

  • पिछले 25 सालों में पंजाब को SDRF से कुल मिलाकर सिर्फ ₹6,190 करोड़ ही मिले।
  • यह पैसा अलग-अलग समय पर आई प्राकृतिक आपदाओं – बाढ़, सूखा, ओलावृष्टि आदि में खर्च हो चुका है।
  • फिलहाल SDRF खाते में केवल ₹1,200 करोड़ बचे हैं।
  • इतने बड़े पैमाने की तबाही के लिए यह रकम नाकाफी है।

मान ने केंद्र सरकार पर अंकों की बाज़ीगरी और फ़िजूल कल्पना करने का आरोप लगाया और कहा कि पूरी पारदर्शिता के साथ हिसाब-किताब जनता के सामने रखा गया है।

बाढ़ से भारी तबाही

अगस्त 2025 की बाढ़ ने पंजाब को गहरी चोट दी है –

  • करीब 1,400 गांव डूब गए।
  • 4 लाख से ज़्यादा लोग सीधे प्रभावित हुए।
  • हजारों एकड़ फसलें बर्बाद हो गईं। गेहूं, सरसों और अन्य रबी फसलों को भारी नुकसान हुआ।
  • किसान संगठनों के मुताबिक, लगभग 75,000 किसान परिवार पूरी तरह तबाह हो गए हैं।

राज्य सरकार का शुरुआती अनुमान है कि बाढ़ से ₹13,800 करोड़ का नुकसान हुआ है। इसमें खेतों की फसल से लेकर सड़कें, पुल, बिजली और पानी की सप्लाई जैसी बुनियादी चीज़ें शामिल हैं। लेकिन असल नुकसान इससे कहीं ज्यादा हो सकता है क्योंकि कई दूर-दराज़ इलाकों का सर्वे अभी जारी है।

केंद्र की मदद समुंदर में बूंद

अब तक केंद्र सरकार ने पंजाब को सिर्फ ₹1,600 करोड़ की मदद दी है। राज्य सरकार और विपक्षी दलों ने इसे समुंदर में बूंद करार दिया है।

मान ने कहा कि पंजाब का ₹50,000 करोड़ GST रिफंड और ₹8,000 करोड़ ग्रामीण विकास योजनाओं का पैसा भी केंद्र के पास अटका हुआ है। ऐसे में बाढ़ जैसी आपदा में राज्य को पर्याप्त मदद न देना दुखद है।

पंजाब सरकार की कोशिशें

राज्य सरकार ने अपने स्तर पर हर संभव राहत कार्य शुरू किए हैं।

  • प्रभावित किसानों और परिवारों को राज्य के संसाधनों से शुरुआती मदद दी जा रही है।
  • मुख्यमंत्री राहत कोष से भी सहायता राशि जारी की गई है।
    लेकिन मान का कहना है कि पंजाब के सीमित संसाधनों से इतने बड़े पैमाने पर राहत और पुनर्वास संभव नहीं है।

सीएम की अपील

मान ने केंद्र सरकार से अपील की कि इस तरह के आपदा प्रबंधन जैसे संवेदनशील मुद्दे पर राजनीति न हो। उन्होंने कहा –
“हम केंद्र से भीख नहीं मांग रहे, बल्कि अपने हक की मांग कर रहे हैं। अब केंद्र का कर्तव्य है कि वह तुरंत ₹20,000 करोड़ का राहत पैकेज मंजूर करे, ताकि लाखों प्रभावित परिवारों को समय पर राहत पहुंचाई जा सके।”

यह पूरा मामला अब पंजाब बनाम केंद्र सरकार के टकराव का रूप ले चुका है। एक तरफ राज्य सरकार ज़मीनी हालात और नुकसान का हवाला देकर मदद मांग रही है, वहीं केंद्र SDRF के आंकड़ों पर जोर दे रहा है। असली सवाल यह है कि क्या पंजाब को वाकई समय रहते पर्याप्त राहत मिल पाएगी या यह मुद्दा राजनीतिक खींचतान में फंसकर रह जाएगा।

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